उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार की तीसरी कैबिनेट बैठक आज होने जा रही है. मीटिंग शाम 5 बजे लखनऊ के लोक भवन में होगी. एक महीने में ये तीसरा मौका होगा जब योगी सरकार के कैबिनेट मंत्री मिलने जा रहे हैं. पहली 2 बैठकों में कई अहम फैसलों के बाद इस मीटिंग से भी खासी उम्मीदें हैं.
क्या है बैठक का एजेंडा?
आज की मीटिंग में इन मुद्दों पर फैसले लिये जा सकते हैं:
-सूत्रों की मानें तो बैठक के एजेंडा में प्रदेश की तबादला नीति में बदलाव शामिल है. यूपी में पिछले कई सालों से एक ही तबादला नीति लागू है. अब तक एक जिले में पिछले 6 साल से जमे अफसर और 1 मंडल में 10 साल से जमे अफसर हटाये जाते रहे हैं. लेकिन कैबिनेट के सामने इस बाबत जो प्रस्ताव पेश होगा उसके मुताबिक जिलों में अफसरों की तैनाती की मियाद घटाकर 5 साल और मंडलों में 7 साल की जा सकती है.
-बैठक में आगामी विधानसभा सत्रों की तारीखों को मंजूरी मिल सकती है.
-मीटिंग के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंत्रियों से अब तक के कामकाज की रिपोर्ट मांग सकते हैं.
-इसके अलावा सरकार स्टांप रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया में बदलावों का भी ऐलान कर सकती है.
-माना जा रहा है कि कैबिनेट सरकारी ठेकों में ई-टेंडरिंग को अनिवार्य बना सकती है.
-सीएम योगी के गृह क्षेत्र गोरखपुर में मेट्रो की संभावना के लिए किसी संस्था को नामित किये जाने की भी संभावना है.
दूसरी बैठक में हुए अहम फैसले
योगी सरकार की दूसरी कैबिनेट बैठक 11 अप्रैल को हुई थी. बैठक में शहरी और ग्रामीण इलाकों में बिजली की सप्लाई बढ़ाने को लेकर ऐलान के अलावा नई खनन नीति के लिए शार्ट टर्म प्लान को मंजूरी मिली थी. सरकार ने बिजली बिलों पर सरचार्ज माफ किया था और मौसमी बीमारियों से निपटने के लिए कदमों का ऐलान किया था.
योगी सरकार की दूसरी कैबिनेट बैठक 11 अप्रैल को हुई थी. बैठक में शहरी और ग्रामीण इलाकों में बिजली की सप्लाई बढ़ाने को लेकर ऐलान के अलावा नई खनन नीति के लिए शार्ट टर्म प्लान को मंजूरी मिली थी. सरकार ने बिजली बिलों पर सरचार्ज माफ किया था और मौसमी बीमारियों से निपटने के लिए कदमों का ऐलान किया था.
पहली मीटिंग में क्या हुआ?
सीएम योगी ने मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली कैबिनेट बैठक राम नवमी के दिन यानी 4 अप्रैल को बुलाई थी. उस दिन कैबिनेट बैठक ने कुल 9 फैसले लिए जिसमें एक सबसे महत्वपूर्ण फैसला था किसानों की कर्जमाफी.
सीएम योगी ने मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली कैबिनेट बैठक राम नवमी के दिन यानी 4 अप्रैल को बुलाई थी. उस दिन कैबिनेट बैठक ने कुल 9 फैसले लिए जिसमें एक सबसे महत्वपूर्ण फैसला था किसानों की कर्जमाफी.
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